देश के लिए सबसे गम्भीर खतरा है Islamic Atankabad । यह राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए सबसे बड़ी चुनौती है, गृह-युद्ध का खुला निमंत्रण है आदि जानेगें ।
Islamic Atankabad
भारत में हर महीने लगभग 40 आतंकवादी हमले होते थे । अमेरिका के ‘आतंकवाद विरोधी केन्द्र’ ‘A Chronology of International Terrorism’ में बताया गया है कि आज तक जितने आतंकवादी हमले भारत पर हुए हैं उतने आतंकवादी हमले दुनिया के किसी भी देश ने नहीं झेले हैं ।
दुनिया के सभी वो देश, जिन पर इस्लाम ने विजय प्राप्त की , इस्लामी आक्रमण के दो दशकों के भीतर 100% इस्लाम में परिवर्तित हो गए । भारत एक अपबाद है । 800 वर्षों के अत्याचारी बरबर मुसलिम शासन के बाद भी अविभाजित भारत में 75% हिन्दू अबादी थी ।
कट्टरपंथी मुसलमानों को यही बात आज तक सता रही है कि मुसलमानों द्वारा किए गए वेहिसाब जुल्मों के बाबजूद वो मुसलिम आतंकवादी हिन्दूओं का मनोबल तोड़ने में क्यों सफल न हो पाए । ओसामाविन लादेन की घोषणा थी कि मुसलिम आतंकवादियों का सबसे बडा लक्ष्य भारत है ।
आज इस्लामिक आतंकवाद देश के लिए सबसे गम्भीर खतरा है । मुसलिम आतंकवाद हमारी राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए सबसे बड़ी चुनौती क्यों है। क्योंकि कट्टरपंथी मुसलमान हिन्दू बहुल भारत को ‘इस्लामी विजय का एक अधूरा अध्याय’ मानते हैं। अब ये मुसलमान वाकी बचे 75% हिस्से पर आतंकवाद को हथियार बनाकर कब्जा करना चाहते हैं ।
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Islamic Atankabad से गृहयुद्ध की स्थिति
मुसलिम आतंकवादी हिन्दूओं को निशाना बनाकर हमले कर रहे हैं व भारत के मुसलमान इन हमलों को मौन स्वीकृति दे रहे हैं। मुसलिम आतंकवादियों के विदेशी संरक्षक अब आतंकवादी हमलों को कुछ इस तरह का अन्जाम दे रहे हैं ताकि मुसलमानों को हिन्दूओं के विरूद्ध राष्ट्रीय स्तर पर लड़ाया जा सके जिससे भारत में सर्विया और वोसनिया की तरह गृह युद्ध छेड़ा जा सके ।
भारतीय जेलो से छोड़े गये आतंकवादी हिन्दुओं का खून बहा रहे हैं
1999 में आतंकवादियों ने भारतीय विमान सेवा की उडान। उ-814 को अगवा कर कन्धार पहुंचा दिया । सरकार ने न्यायालय से आज्ञा लिए विना ही तीन आतंकवादियों को छोड़ दिया । इन आतंकवादियों को प्रधानमन्त्री के विमान में बिठाकर एक वरिष्ठ मन्त्री द्वारा कन्धार पहुंचाया गया । जहाँ से ये तीनों वापिस पाकिस्तान चले गए ।
पाकिस्तान जाकर इन तीनों आतंकवादियों ने हिन्दूओं को कत्ल करने के लिए तीन अलग-अलग आतंकवादी संगठन बनाए ।
मुहम्द हजर ने छोड़े जाने के बाद लश्करे तैयावा की कमान सम्भाली । लश्करे तैयवा वह गिरोह है जिसने श्रीनगर से लेकर बंगलौर तक हिन्दूओं को लहुलुहान करने के लिए बार-बार हमलों को अन्जाम दिया ।
अजहर ने मध्य 2000 से लेकर अब तक 2000 से अधिक हिन्दूओं का खून बहाया । यही अजहर 13 दिसम्बर, 2001 में संसद भवन पर हुए हमले के लिए भी जिम्मेदार है । तीसरा आतंकवादी जरगर अल-मुझाहिदीन-जंगान की स्थापना करने के बाद डोडा और जम्मू में हिन्दूओं का खून बहाया ।
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